बक्सर में पिछले लगभग तीन महीने से मुआवजा राशि के लिए चल रहे किसानों के आंदोलन को समर्थन देने के लिए भाजपा भी सड़क पर उतरी हुई है। इसी प्रदर्शन के दौरान सोमवार दोपहर बाद करीब 3 बजे भाजपा नेता परशुराम चतुर्वेदी उर्फ परशुराम चौबे की अचानक खड़े-खड़े ही मौत हो गई। बक्सर शहरी विधानसभा क्षेत्र से पिछले विधानसभा चुनाव में चार हजार से भी कम वोटों से हारने वाले परशुराम चौबे की मौत की जानकारी देते हुए बक्सर के भाजपा सांसद और केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे प्रेस कांफ्रेंस के बीच में ही रोने लगे।
नाक-मुंह से खून, हेमरेज की भी आशंकावीडियो में दिख रहा है कि आक्रोश मार्च के दौरान बक्सर के भगत सिंह पार्क में संबोधित कर रहे नेता की बगल में तख्ती लिए खड़े परशुराम चतुर्वेदी का ऐसा हार्ट अटैक आया कि वह उसी अवस्था में सीधे निढाल होकर गिर पड़े। आगे-पीछे खड़े लोगों को भी नहीं लगा कि ऐसा कुछ हुआ होगा, लेकिन आननफानन में अस्पताल पहुंचाया भी गया तो उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। बताया गया कि संभव है कि अचानक रक्तचाप बढ़ने के कारण हेमरेज और हार्ट अटैक साथ हुआ हो। हैमरेज की आशंका इसलिए भी जताई जा रही है कि नाक और मुंह से उसी समय खून निकल आया था।
चौबे से गहरे जुड़े थे 56 साल के परशुरामकेंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे से 56 वर्षीय परशुराम चतुर्वेदी उर्फ परशुराम चौबे गहरे जुड़े थे। पिछले चुनाव में सांसद अश्विनी चौबे उनकी जीत के लिए प्रयासरत थे। किसान आंदोलन के प्रदर्शन में अश्विनी चौबे के शामिल होने के दौरान हुए हमले का भी सोमवार को प्रदर्शन में विरोध हो रहा था ओर परशुराम के हाथ में “हमलावर गुंडों को गिरफ्तार करो” के नारे वाली तख्ती थी। परशुराम को 2020 के विधानसभा चुनाव में 55525 वोट मिला था और भाजपा प्रत्याशी के रूप में वह दूसरे नंबर पर रहते हुए 3892 वोटों से हार गए थे।