मणिकर्णिका घाट पर महाश्मशान मंदिर के पास सीढ़ी उतरते ही लकड़ी आधारित शवदाह गृह का निर्माण किया जाएगा। एक करोड़ की लागत से बनने वाले शवदाह गृह के निर्माण के लिए कोलकाता की संस्था हिंदुस्तान चैरिटी ने पहल की है। नगर निगम के अधिशासी अभियंता अजय कुमार राम ने गोरखपुर के शवदाह गृह ऊर्जा गैसी फायर के मालिक से मुलाकात करके इसकी पूरी कार्ययोजना तैयार कर ली है। सप्ताह भर के अंदर इस पर काम भी शुरू हो जाएगा।
इको फ्रेंडली शवदाह गृह में कम लगेगी लकड़ी
अधिशासी अभियंता अजय कुमार ने बताया कि आम तौर पर जहां सामान्य चिता के लिए ढाई क्विंटल लकड़ी की जरूरत होती है वहीं इस इको फ्रेंडली शवदाह गृह में अंतिम संस्कार के लिए एक क्विंटल लकड़ी में काम हो जाएगा। शवदाह की प्रक्रिया डेढ़ घंटे में ही पूर्ण हो जाएगी जबकि सामान्यत: इस प्रक्रिया में तीन से चार घंटे का समय लग जाता है। लकड़ी की कमी, वायु प्रदूषण और गंगा में होने वाले प्रदूषण से निपटने में यह तकनीक कारगर सिद्ध होगी।