जयश्री कुमारी,
न्याय की गुहार को लेकर पुलिस ऑफिस पहुंचे ग्रामीणों में शामिल एक युवक को पुलिस कप्तान ने मात्र इसलिए पीट दिया कि वह उनके वाहन के सामने आ गया था। वह वाहन रोक कर न्याय की गुहार लगाना चाह रहा था। युवक को पीटने के साथ ही पुलिस ने उसे अपने ऑफिस में बैठा भी लिया है। यह पूरा मामला कैमरे में कैद है।
रौनापार थाना क्षेत्र की रहने वाली एक 10 वर्षीया बच्ची बीते शुक्रवार सुबह घर से कुछ दूरी पर रास्ते में अर्धनग्न अवस्था में मिली थी। हालत देख कर आशंका जतायी गई कि बच्ची के साथ दुष्कर्म हुआ है। परिजन उसे जिला अस्पताल ले कर गए जहां से उसे रेफर कर दिया गया।
जिसके बाद उसे जीयनपुर स्थित प्राइवेट अस्पताल में भर्ती कराया गया। तब रौनापार थाने की पुलिस बच्ची को महिला अस्पताल भेजा। हालत गंभीर होने पर वहां से उसे मेडिकल कॉलेज भेज दिया गया। जहां शनिवार की रात उसकी मौत हो गई। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में निमोनिया से मौत सामने आई।
बच्ची के साथ दुष्कर्म से पुलिस सीधे-सीधे इंकार करती रही। इतना ही नहीं अपने खर्च पर एसओ ने बच्ची का आनन-फानन अंतिम संस्कार भी करा दिया। इस मामले में न्याय की गुहार लगाने बच्ची की मां ग्रामीणों के साथ बुधवार को एसपी ऑफिस पहुंची। इसी दौरान एसपी ऑफिस से निकल रहे थे।
इस दौरान दीपक नाम का एक युवक उनके वाहन के सामने आ गया ताकि उन्हें रोककर पत्रक दिया जा सके। वाहन रोके जाने से एसपी भड़क उठे। वाहन से उतरे और युवक को पकड़ कर लोगों के सामने ही उसकी पिटाई करने लगे। पुलिसकर्मियों ने युवको पकड़ा और एसपी ऑफिस में बैठा दिया।
..तो क्या पुलिस सच छिपाने में जुटी?
एक समस्या के समाधान के लिए आए ग्रामीणों के समक्ष अब दूसरी समस्या दीपक नाम के युवक को पकड़ लिए जाने की खड़ी हो गई है। पुलिस की यह ज्यादती निश्चित तौर पर यह बता रही है कि बच्ची के साथ कुछ न कुछ गड़बड़ हुआ है, जिसे छुपाने की कवायद में महकमा जुटा हुआ है।