गुलाम नबी आजाद की डेमोक्रेटिक आजाद पार्टी (डीएपी) में जबरदस्त उठापटक चल रही है। नियुक्ति के दो दिन बाद ही संभागीय सचिव जय सिंह के इस्तीफे के बाद अब पार्टी से तीन बड़े नेताओं को निकाल दिया गया है। आजाद ने पार्टी विरोधी गतिविधियों के कारण पूर्व उप मुख्यमंत्री ताराचंद, पूर्व मंत्री डॉ. मनोहर लाल व पूर्व विधायक बलवान सिंह को बाहर का रास्ता दिखाया।
तीनों को निष्कासित करने का आदेश पार्टी के महासचिव राजिंदर सिंह चिब यह तीनों नेता कांग्रेस छोड़ डीएपी में शामिल हुए थे। इस बीच ताराचंद ने एलान किया कि वह कांग्रेस में दोबारा लौट सकते हैं क्योंकि वह जन्म से ही कांग्रेसी हैं। वह अपने कार्यकर्ताओं के साथ विचार-विमर्श कर रहे हैं।
आजाद को जम्मू में दिलचस्पी नहीं: बलवानहमें खुद नहीं पता चला की पार्टी से बाहर क्यों निकाला गया। हम तो पार्टी को मजबूत करने के लिए दिन रात काम कर रहे थे। हमें लगा कि गुलाम नबी आजाद अकेले हैं। हमें इनका साथ देना चाहिए। इसलिए हमने कांग्रेस पार्टी छोड़ कर इनका साथ दिया। इन्होंने किसी की बातें सुन कर हमें ही पार्टी से बाहर निकाल दिया। इनकी जम्मू में कोई भी दिलचस्पी नहीं है। हमने खुद जबरदस्ती इनकी जम्मू में बैठकें करवाई है।कांग्रेस अध्यक्ष रसूल ने कहा, तीनों आएंगे तो स्वागत हैप्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष विकार रसूल का कहना है कि गुलाम नबी आजाद की गैर पंजीकृत पार्टी में कई कांग्रेस नेता जल्दबाजी में चले गए थे। अब उनको हकीकत का अहसास हो रहा है। पूर्व उपमुख्यमंत्री तारा चंद, पूर्व मंत्री डॉ. मनोहर लाल और पूर्व विधायक बलवान सिंह अगर राहुल गांधी की मौजूदगी में प्रदेश में होने वाली भारत जोड़ो यात्रा में कांग्रेस में वापसी करते हैं तो उनका गर्मजोशी से स्वागत होगा। वह कांग्रेस पार्टी का मजबूत हिस्सा रहे हैं।