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Monday, May 20, 2024

जयंत चौधरी ने कहा – उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में ‘लव जिहाद’ और ‘गो आतंक’ जैसे बनावटी मुद्दे काम नहीं करेंगे

रालोद प्रमुख जयंत चौधरी ने रविवार को कहा कि प्रदर्शनकारी किसानों के प्रति भाजपा की कथित ‘उदासीनता’ उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में उसे बड़ा नुकसान पहुंचाएगी। उन्होंने कहा कि ‘लव जिहाद’ और ‘गो आतंक’ जैसे बनावटी मुद्दे काम नहीं करेंगे। चुनाव में विकास के मुद्दों की ही जीत होगी।

पिछले महीने पिता चौधरी अजित सिंह के निधन के बाद रालोद प्रमुख का पद संभालने वाले जयंत ने कहा कि उनकी पार्टी और समाजवादी पार्टी के बीच अच्छे संबंध संबंध हैं। समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार जयंत ने कहा कि चुनावों के लिए औपचारिक गठबंधन पर विस्तार से काम करने की जरूरत है।

इस सवाल पर कि क्या उत्तर प्रदेश में भाजपा का सामना करने के लिए ‘महागठबंधन’ की जरूरत है और क्या बसपा व कांग्रेस ऐसे किसी गठबंधन का हिस्सा होंगे, चौधरी ने कहा कि उनके लिए मुद्दे पहले आते हैं और गठबंधन के सभी सहयोगियों के बीच उन मुद्दों पर समझ बनाने की जरूरत होगी।

वहीं, यह पूछे जाने पर कि पंचायत चुनावों में खराब प्रदर्शन के बावजूद क्या विधानसभा चुनावों में कांग्रेस महत्त्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है, उन्होंने कहा कि मैं कांग्रेस की योजनाओं और संभावनाओं पर टिप्पणी नहीं करना चाहता हूं। बता दें कि कांग्रेस पिछले कई चुनावों में कुछ खास प्रदर्शन नहीं कर सकी है।

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री के तौर पर राजनीतिक भविष्य को लेकर अटकलों और राज्य मंत्रिमंडल में फेरबदल की खबरों पर, चौधरी ने कहा कि भाजपा महज ध्यान भटकाने की और पार्टी में असंतुष्ट तत्वों को संभालने के लिए बातचीत का भ्रम पैदा करने की कोशिश कर रही है।

उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि सामाजिक बदलाव शीर्ष के एक या दो नेताओं को बदल देने से नहीं आ जाता है। जयंत ने कहा कि तथ्य यह कि प्रदेश की भाजपा सरकार जाति आधारित गणित में उलझी रही और उसने लोगों को रोजगार, आर्थिक वृद्धि और प्रभावी शासन उपलब्ध नहीं कराया है।

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार का कोविड-19 प्रबंधन घटिया रहा और कोई भी गंगा में शव मिलने के दृश्यों को भूल नहीं सकता है। चौधरी ने कहा कि अब साढ़े चार साल बाद नेतृत्व में बदलाव की अफवाहें विफलताओं से ध्यान भटकाने की बेकार कोशिश हैं।

नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शनों और चुनाव में इसके मुख्य मुद्दा बन सकने की संभावनाओं पर उन्होंने कहा कि किसानों का मुद्दा हमारे देश में सबसे बड़ा चुनावी मुद्दा होगा और होना चाहिए भी। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि एक वर्ग के तौर पर लंबे वक्त से उन्हें उनके अधिकारों से वंचित रखा गया है।

रालोद प्रमुख ने कहा, नए कानून निजी क्षेत्र द्वारा पूरे बाजार व मूल्य श्रृंखला पर कब्जा करने की अनुमति देते हैं और इनसे एकाधिकारवाद की वजह से उत्पादकों और उपभोक्ताओं के हित प्रभावित होंगे। उन्होंने कहा कि किसानों के प्रति उदासीनता एवं असंवेदनशीलता चुनावों में भाजपा को नुकसान पहुंचाएगी।

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Anita Choudhary is a freelance journalist. Writing articles for many organizations both in Hindi and English on different political and social issues

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