आज पूरे देशभर में महाशिवरात्रि का पर्व बड़े ही धूमधाम के साथ मनाई जा रही है। महाशिवरात्रि के त्योहार के दिन ही भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह हुआ था इस कारण से हर साल महाशिवरात्रि का त्योहार बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता है। महाशिवरात्रि पर शिवलिंग पर दूध, दही, गंगाजल, घी और बेलपत्र से शिवजी का अभिषेक किया जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार महाशिवरात्रि पर व्रत और पूजा पाठ करने से सभी तरह की मनोकामनाएं पूरी होती हैं। महाशिवरात्रि पर रात्रि के चार प्रहर की पूजा का विशेष महत्व होता है।
महाशिवरात्रि पर ऐसे करें भगवान भोलेनाथ की पूजाशिव जी को भोलेनाथ इसलिए कहा जाता है, क्योंकि वे बहुत जल्दी प्रसन्न होते हैं। करुणा उनके हृदय से निकलती है। ऐसे में शुद्ध मन और पूरे विधि-विधान से उनकी पूजा निश्चित रूप से फल देती है। सुबह स्नान के बाद भगवान शिव की पूजा के लिए पूर्व या उत्तर दिशाओं की ओर मुंह करके बैठें। घर के देवालय या किसी शिवालय में जाकर गंगा या पवित्र जल से जलधारा अर्पित करें। दूध, जल, शहद, घी, शक्कर, बेलपत्र, धतूरे से भगवान शिव का अभिषेक करें। भगवान शिव के साथ शिव परिवार का फूल, गुड़, जनेऊ, चंदन, रोली, कपूर से पूजन करें। शिव स्तोत्रों और शिव चालीसा का पाठ करें। व्रत रखें और सच्चे दिल से अपनी मनोकामना के लिए उपासना करें।
शिवरात्रि पर चार प्रहर में चार बार पूजन का विधान आता है, इसलिए चार बार रुद्राभिषेक भी संपन्न करना चाहिए। पहले प्रहर में दूध से शिव के ईशान स्वरूप का, दूसरे प्रहर में दही से अघोर स्वरूप का, तीसरे प्रहर में घी से वामदेव रूप का और चौथे प्रहर में शहद से सद्योजात स्वरूप का अभिषेक कर पूजन करना चाहिए। यदि कन्याएं चार बार पूजन न कर सकें, तो पहले प्रहर में एक बार तो पूजन अवश्य ही करें। महाशिवरात्रि की रात महासिद्धिदायिनी होती है, इसलिए उस समय किए गए दान और शिवलिंग की पूजा व स्थापना का फल निश्चित रूप से मिलता है।
महाशिवरात्रि 2023 पर शुभ संयोग
सर्वार्थ सिद्धि योग- शाम 05:42 से अगले दिन प्रात: 07:05 तक।
वरियान : 18 फरवरी को रात्रि 07 बजकर 35 मिनट से वरियान योग प्रारंभ होगा जो अगले दिन दोपहर 03 बजकर 18 मिनट तक रहेगा।
निशीथ काल पूजा मुहूर्त( आठवां मुहूर्त) : 24:09:26 से 25:00:20 तक रात्रि का आठवां मुहूर्त निशीथ काल
महाशिवरात्रि पारणा मुहूर्त (19 फरवरी) : 06:57:28 से 15:25:28 तक
चार पहर के महाशिवरात्रि पूजा मुहूर्त
रात्रि प्रथम प्रहर : 18 फरवरी शाम 6:21 मिनट से रात 9:31 तक
रात्रि द्वितीय प्रहर : 18 फरवरी रात 9: 31 मिनट से 12:41 मिनट तक
रात्रि तृतीय प्रहर : 18-19 फरवरी की रात 12:42 मिनट से 3: 51 मिनट तक
रात्रि चतुर्थ प्रहर : मध्यरात्रि बाद 3:52 मिनट से सुबह 7:01 मिनट तक