पाकिस्तान में हालात बेहद खराब होते जा रहे हैं। अब आलम ये है कि खुलेआम सत्ताधारी और विपक्ष के नेता एक-दूसरे को धमकी दे रहे हैं। इसे आप पाकिस्तान के आंतरिक मंत्री राणा सनाउल्लाह के बयान से समझ सकते हैं। राणा सनाउल्लाह ने टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में कहा कि अब इमरान खान और उनकी पार्टी पीटीआई हमारी (पीएमएल-एन) की सबसे बड़ी दुश्मन है। वह (इमरान) देश की राजनीति को ऐसी स्थिति में ले गए हैं, जहां ‘या तो वह मारे जाएंगे या हम।’
राणा ने क्या कहा?
रविवार को कुछ निजी टीवी चैनलों को पाकिस्तान के आंतरिक मंत्री राणा सनाउल्लाह ने इंटरव्यू दिया था। इस दौरान उन्होंने कहा, ‘या तो इमरान खान या हम मारे जाएंगे। वह अब देश की राजनीति को उस मुकाम पर ले गए हैं जहां दोनों में से एक ही रह सकता है- पीटीआई या पीएमएलएन। पीएमएलएन का पूरा अस्तित्व खतरे में है और हम हिसाब बराबर करने के लिए उसके खिलाफ किसी भी हद तक जा सकते हैं। खान ने राजनीति को दुश्मनी में बदल दिया है। खान अब हमारा दुश्मन है और उसके साथ ऐसा ही व्यवहार किया जाएगा।
पत्रकार ने जब सवाल पूछा कि आपके इस बयान से तो पाकिस्तान में अराजकता फैल सकती है। इसपर मंत्री ने कहा, ‘पाकिस्तान में पहले से ही अराजकता कायम है।
पीटीआई नेताओं ने जताया आक्रोश
सनाउल्लाह के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए पीटीआई नेता और पूर्व संघीय सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने कहा, ‘इस पीएमएलएन गठबंधन सरकार से इमरान खान के लिए सीधा जान का खतरा है।’ उन्होंने आगे कहा, ‘सनाउल्लाह गिरोह चला रहे हैं या सरकार? सुप्रीम कोर्ट ने शरीफ के नेतृत्व वाले पीएमएलएन को सिसिली माफिया घोषित करना सही था और उनका बयान इसका सबूत है।
पीटीआई ने सुप्रीम कोर्ट से इस पर संज्ञान लेने का भी आग्रह किया है क्योंकि यह खान की जान को खुला खतरा है।
पीटीआई के नेता और पूर्व मंत्री शिरीन मजारी ने कहा, ‘खान के प्रति सनाउल्लाह की जानलेवा मंशा सबके सामने है। यह सीधे तौर पर बदमाशों के काफिले के गृहमंत्री की ओर से दी गई धमकी है। न्यायपालिका को इसपर ध्यान देना चाहिए।’
रैली में राणा का नाम ले चुके हैं इमरान इमरान खान ने पिछले साल नवंबर में पंजाब के वजीराबाद में एक रैली के दौरान बंदूक के हमले से बचने के बाद आंतरिक मंत्री राणा सनाउल्लाह का नाम लिया था। आरोप लगाया था कि राणा सनाउल्लाह उनकी जान लेना चाहते हैं। 70 साल के इमरान ने अपनी हत्या की साजिश करने का आरोप मौजूदा प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और वरिष्ठ आईएसआई अधिकारियों पर भी लगाया था। FIR में भी इनके नामों का उल्लेख किया था।