गोरखपुर औद्योगिक विकास प्राधिकरण के सेक्टर-13 में जमीन अधिग्रहण के खिलाफ किसान आंदोलित हो गए हैं। गुस्साए किसानों ने पुलिस-प्रशासन पर दमन का आरोप लगाते हुए जमकर नारेबाजी की। किसानों का आरोप है कि प्रशासन बिना मुआवजा दिए जमीन पर कब्जा करना चाहता है। मिली जानकारी के अनुसार साल 2012 में गीडा क्षेत्र के विस्तार के लिए कालेसर गांव में जमीन अधिग्रहण किया गया था। हाल हीम में गीडा सेक्टर-13 में औद्योगिक जमीन का आवंटन किया गया है। इसके बाद जिला प्रशासन की ओर से सड़क का निर्माण कराया जा रहा है।
सड़क निर्माण शुरू कराने के लिए शनिवार सुबह उप जिलाधिकारी सहजनवां सुरेश कुमार राय, तहसीलदार शशि भूषण पाठक, एएसपी राहुल भाटी पुलिस फोर्स के साथ पहुंचे। प्रशासन ने जैसे ही जेसीबी लगाकर किसानों की जमीन का अधिग्रहण शुरू किया, बड़ी संख्या में जुटे किसानों ने विरोध शुरू कर दिया। किसानों ने उच्च न्यायालय का स्थगन आदेश दिखाते हुए आरोप लगाया कि गीडा प्रशासन द्वारा अभी तक किसानों को मुआवजा नहीं दिया गया है। प्रशासन जबरदस्ती किसानों की जमीन कब्जा कर रहा है। अधिकारियों और किसानों के बीच काफी देर तक नोकझोंक हुई। इसी दौरान कुछ किसान उग्र हो गए। इसके बाद किसानों-पुलिस के बीच जमकर झड़प हुई। किसानों ने प्रशासन से अधिग्रहीत जमीन का 25 प्रतिशत और वर्तमान सर्किल रेट के चार गुना की दर से भुगतान करने की मांग की।
किसानों ने चेतावनी दी कि उनकी मांगें नहीं मानी गईं तो वे आत्मदाह जैसा कदम उठाने को मजबूर होंगे। सहजनवां के उपजिलाधिकारी सुरेश कुमार राय ने मौके पर पहुंचकर किसानों को सख्त हिदायत देते हुए कहा कि यह जमीन पहले ही प्रशासन द्वारा अधिग्रहीत की जा चुकी है। यदि सरकारी काम में किसी ने बाधा डालने की कोशिश की तो सख्त कार्रवाई की जाएगी। गीडा के मुख्य कार्यपालक अधिकारी संजीव रंजन ने इस बारे में बताया कि 2012 में ही यह जमीन अधिग्रहीत की गई थी। कुछ किसान, उच्च न्यायालय से स्थगन आदेश लाए थे जो निरस्त हो चुका है।