श्रीनगर नगर निगम (एमसी) छह महीने के भीतर लगभग 50,000 आवारा कुत्तों की नसबंदी करने के लिए बड़े पैमाने पर कार्यक्रम शुरू करने की योजना बना रहा हैं। यह अभियान कश्मीर में बढ़ती कुत्तों की जनसंख्या को नियंत्रित करने के उद्देश्य से है। पिछले 12 वर्षों में श्रीनगर के एंटी रेबीज क्लिनिक में कुत्तों के काटने के लगभग 66,700 मामले सामने आने के बाद से ये बड़ा मुद्दा बना हुआ है।
श्रीनगर के नगर निगम कमिश्नर अतहर आमिर खान ने कहा कि निगम की योजना है कि वह एनिमल वेलफेयर बोर्ड ऑफ इंडिया और एनिमल बर्थ कंट्रोल (डॉग) रूल्स 2001 के दिशा-निर्देशों के अनुसार श्रीनगर में 75% आवारा कुत्तों की आबादी के लिए एनिमल बर्थ कंट्रोल और एंटी रेबीज वैक्सीनेशन करवाए।
उन्होंने ट्विटर पर इसके बारे में जानकारी साझा करते हुए कहा, “योजना को अंतिम रूप देने के लिए प्रस्ताव मंगवाया गया है।” उन्होंने कहा कि शेर-ए-कश्मीर यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर साइंसेज एंड टेक्नोलॉजी, जीएमसी श्रीनगर के डिपार्टमेंट ऑफ प्रीवेंटिव एंड सोशल मेडिसन और नागरिक समाज और गैर सरकारी संगठनों के सदस्यों के सुझावों के साथ कार्यक्रम को अंतिम रूप दिया गया था।
निगम के पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. जावेद राथर ने कहा कि वे एक बड़े पैमाने पर नसबंदी कार्यक्रम चलाने की योजना बना रहे हैं जिसके लिए रविवार को टेंडर बुलवाया गया था। उन्होंने कहा कि “छह महीने के भीतर, हम लगभग 50,000 नसबंदी करना चाहते हैं।” उन्होंने कहा, “कुत्तों की वास्तविक आबादी का पता लगाने के लिए सर्वे किया जाएगा।” सालों से, आवारा कुत्ते कश्मीर के लोगों के लिए एक मुद्दा बना हुए हैं, खासकर श्रीनगर में, जहां आवारा कुत्ते की आबादी लगभग 60,000 से 70,000 है।