मध्य प्रदेश में इंदौर की एक कोर्ट ने एक ‘समझौते’ के बाद शादीशुदा व्यक्ति को रेप के आरोपों से बरी कर दिया. 34 साल के इस व्यक्ति पर अपनी लिव-इन पार्टनर से रेप, जबरन गर्भपात और जान से मारने की धमकी का आरोप था. कोर्ट में फैसले के दौरान रेप का आरोप लगाने वाली लिव-इन पार्टनर ने सहमति जताई कि आरोपी सात दिन उसके साथ और सात दिन अपनी पत्नी के साथ रहेगा.एडिशनल सेशन्स जज जयदीप सिंह ने उसे इन आरोपों से बरी कर दिया. कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि FIR दर्ज कराने वाली महिला ने आरोपी व्यक्ति के साथ 15 जून 2021 को समझौता किया था. इसमें साफ-साफ लिखा गया था कि आरोपी व्यक्ति पहले से शादीशुदा है और वह एक हफ्ते उसके साथ और एक हफ्ते अपनी पत्नी के साथ रहेगा.
कोर्ट ने आरोपी को बरी करते हुए कहा कि ऐसी स्थिति में उसे रेप और जबरन गर्भपात का दोषी नहीं ठहराया जा सकता. ये भी कहा कि जान से मारने की धमकी को लेकर कोई ठोस सबूत उपलब्ध नहीं है.