दरोगा भर्ती परीक्षा में फर्जी अभ्यर्थी को पुलिस ने बुधवार को वाराणसी के रोहनिया क्षेत्र के गोविंदपुर स्थित केंद्र से गिरफ्तार किया। दूसरे अभ्यर्थी के स्थान पर परीक्षा देने आए बिहार के मधुबनी निवासी सॉल्वर से पुलिस और एनएसईआईटी के चीफ प्रॉक्टर सहित अन्य अधिकारियों ने पूछताछ की।
वहीं मूल अभ्यर्थी और इस पूरे रैकेट के बारे में पता लगाने के लिए पुलिस की एक टीम गठित की गई है। उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड द्वारा आयोजित उपनिरीक्षक नागरिक पुलिस, प्लाटून कमांडर पीएसी, अग्निशमन द्वितीय अधिकारी की सीधी भर्ती 2020-21 की ऑनलाइन परीक्षा इन दिनों चल रही है।
गोविंदपुर स्थित नंदनी इंस्टीट्यूट आफ कंप्यूटर टेकभनोलाजी में सुबह नौ बजे की प्रथम पाली की परीक्षा के दौरान अभ्यर्थी बृजेश कुमार अनुक्रमांक नंबर वीए 2425166942, आवेदन संख्या एसआईसीयूपी 0902501 के स्थान पर परीक्षा देने पहुंचा तो उसके फोटो और आधार से मेल नहीं खाया। शंका वश केंद्र प्रभारी ने अभ्यर्थी को गेट पर ही रोक दिया।
इसके बाद एनएसईआईटी (नेशनल स्टॉक एक्सचेंज इंफारमेशन टेक्नोलॉजी) के चीफ प्रॉक्टर, प्रभारी अधिकारी निरीक्षक रमेश यादव को सूचना दी। पुलिस की मौजूदगी में अभ्यर्थी से पूछताछ शुरू हुई तो अभ्यर्थी ने फर्जी अभ्यर्थी बनकर परीक्षा देने की बात कबूल की। पुलिस के मुताबिक फर्जी अभ्यर्थी बिहार मधुबनी के लौकही थाना अंतर्गत थरुआही गांव का रहने वाला सिकेंद्र कुमार ठाकुर है।
पूछताछ में पुलिस को बताया कि लालच में आकर देवरिया वनहटा थाना अंतर्गत धरहनिया निवासी बृजेश प्रसाद के स्थान पर परीक्षा देने आया था। परीक्षा के दौरान दस हजार रुपए मिले थे और शेष रकम परीक्षा देने के बाद मिलने का वादा किया गया था। दरोगा भर्ती परीक्षा में सॉल्वर गैंग की संलिप्ता सामने आने के बाद सभी केंद्रों पर चेकिंग व्यवस्था और बढ़ाने का निर्देश दिया गया।
दरोगा भर्ती परीक्षा में फर्जी अभ्यर्थी को पुलि से गिरफ्तार किया। दूसरे