नई दिल्ली, 12 मई 2025, सोमवार: केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण व ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने।सोमवार को नई दिल्ली के कृषि भवन में देश के कृषि क्षेत्र की प्रगति को लेकर एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की। इस बैठक में उन्होंने कृषि क्षेत्र की उपलब्धियों की सराहना की और किसानों के हित में त्वरित भुगतान व न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर खरीद को और प्रभावी बनाने के लिए अधिकारियों को स्पष्ट दिशा-निर्देश दिए।
खाद्यान्न भंडारण में रिकॉर्ड उपलब्धि
बैठक में केंद्रीय मंत्री ने चावल और गेहूं के भंडारण की स्थिति पर संतोष जताया। देश में चावल का वास्तविक स्टॉक 135.80 लाख मीट्रिक टन (एल.एम.टी.) के बफर मानक के मुकाबले 389.05 एल.एम.टी. और गेहूं का स्टॉक 74.60 एल.एम.टी. के बफर मानक के मुकाबले 177.08 एल.एम.टी. है। इस प्रकार, कुल 210.40 एल.एम.टी. के बफर मानक के मुकाबले 566.13 एल.एम.टी. स्टॉक उपलब्ध है। यह उपलब्धि खाद्य सुरक्षा की दृष्टि से एक मजबूत स्थिति को दर्शाती है।
गेहूं की कटाई में भी देश ने शानदार प्रदर्शन किया है। 2 मई 2025 तक मध्य प्रदेश, राजस्थान, गुजरात और हरियाणा में 100%, उत्तर प्रदेश में 94%, पंजाब में 97% और बिहार में 96% कटाई पूरी हो चुकी है। फसलों की परिपक्वता और मौसम की अनुकूलता के कारण लू या उच्च तापमान का कटाई पर कोई प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ा है।
किसानों को त्वरित भुगतान की गारंटी
शिवराज सिंह चौहान ने चना, मसूर, उड़द और अरहर की खरीद प्रक्रिया को और सुगम बनाने पर जोर दिया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि एमएसपी पर खरीद के बाद किसानों को भुगतान में किसी भी प्रकार की देरी न हो। उन्होंने कहा, “किसानों का हक समय पर मिलना चाहिए। इसके लिए व्यवस्था को और सुदृढ़ करें।” यह कदम छोटे और मझोले किसानों के लिए वरदान साबित होगा, जो अपनी उपज का उचित मूल्य और समय पर भुगतान पाने के लिए सरकार पर निर्भर रहते हैं।
बुआई में उल्लेखनीय प्रगति
बैठक में अधिकारियों ने ग्रीष्मकालीन और रबी मौसम की बुआई की स्थिति पर विस्तृत जानकारी दी। ग्रीष्मकालीन बुआई में धान का रकबा पिछले वर्ष के 28.57 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 32.02 लाख हेक्टेयर हो गया है, जो 3.44 लाख हेक्टेयर की वृद्धि दर्शाता है। दलहन की बुआई में भी 2.20 लाख हेक्टेयर की बढ़ोतरी हुई है, जिसमें मूंग और उड़द का रकबा क्रमशः 1.70 लाख और 0.50 लाख हेक्टेयर बढ़ा है।
रबी मौसम में प्याज और आलू की बुआई में भी उल्लेखनीय प्रगति हुई है। प्याज का बुआई क्षेत्र 9.76 लाख हेक्टेयर से बढ़कर 12.58 लाख हेक्टेयर और आलू का क्षेत्र 19.56 लाख हेक्टेयर से 20.03 लाख हेक्टेयर हो गया है। टमाटर की बुआई भी सुचारू रूप से चल रही है। अनुकूल बाजार मूल्यों को देखते हुए इन फसलों का सामान्य क्षेत्र हासिल होने की उम्मीद है।
जल संग्रहण में बेहतर स्थिति
बैठक में जलाशयों की स्थिति पर भी चर्चा हुई। देश के 161 जलाशयों में जल संग्रहण पिछले वर्ष की समान अवधि के 117% और पिछले दस वर्षों के औसत का 114% है। यह स्थिति सिंचाई और कृषि उत्पादन के लिए सकारात्मक संकेत है।
किसान हित में सरकार की प्रतिबद्धता
बैठक में केंद्रीय कृषि सचिव देवेश चतुर्वेदी, अतिरिक्त सचिव मनिंदर कौर द्विवेदी और कृषि आयुक्त पी.के. सिंह सहित वरिष्ठ अधिकारियों ने हिस्सा लिया। शिवराज सिंह चौहान ने स्पष्ट किया कि सरकार का लक्ष्य किसानों की आय बढ़ाना और उनकी मेहनत का उचित मूल्य सुनिश्चित करना है। उन्होंने कहा, “कृषि क्षेत्र देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ है। हमारा हर कदम किसानों के कल्याण और आत्मनिर्भर भारत के निर्माण की दिशा में होगा।”