पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू ने मंगलवार को लुधियाना के सर्किट हाऊस में आने वाले पांच साल की कार्ययोजना रखी। कहा कि 2022 में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद इन कार्ययोजनाओं पर काम किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि वह आने वाले पांच साल में पंजाब को पूरी तरह से बदल देंगे। यह कार्ययोजना उनकी तो है ही साथ ही यह पूरी पंजाब कांग्रेस, राहुल गांधी, सोनिया गांधी और प्रियंका गांधी की कार्ययोजना भी है।
सिद्धू मंगलवार को स्थानीय सर्किट हाऊस में पार्षदों के साथ मीटिंग करने के लिए पहुंचे थे ताकि आने वाले चुनाव में लुधियाना की सीटों पर काबिज होने की तैयारी की जा सके। इस दौरान उनके साथ कैबिनेट मंत्री भारत भूषण आशु, विधायक सुरिंदर डावर, मेयर बलकार सिंह संधू और जिला कांग्रेस प्रधान अश्वनी शर्मा मौजूद थे।
पंजाब कांग्रेस के प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू ने बताया कि उन्होंने पूरा खाका तैयार कर रखा है कि पंजाब में पांच साल कैसे और किन कार्य योजनाओं पर काम करना है। यह विजन वह पूरी पंजाब कांग्रेस के साथ मिल कर पूरा करेंगे। जिसमें हर एक कांग्रेसी की मेहनत होगी।
सिद्धू ने कहा कि वह जो कह रहे हैं, वह वर्तमान तीन माह के लिए नहीं है, बल्कि यह 2022 के बाद की योजना है। उन्होंने यहां तक कह दिया कि पांच सालों में पंजाब को पूरी तरह से बदल दिया जाएगा।
इन कार्ययोजनाओं से पंजाब का खजाना कभी खाली नहीं होगा। इस दौरान उन्होंने अकाली दल के प्रधान सुखबीर सिंह बादल पर भी तंज कसे।
उन्होंने कहा कि 2015 में अकाली भाजपा की सरकार थी तो बिजनेस समिट का प्रोग्राम किया गया था। जिसमें कई एमओयू साइन किए गए थे और बात की गई थी कि एक लाख बीस हजार करोड़ का निवेश किया जाएगा, लेकिन बाद में सिर्फ छह हजार करोड़ रुपये का ही निवेश हो सका। बाकी निवेशकों ने पंजाब में निवेश ही नहीं किया।
यानी कि पांच प्रतिशत लोग भी पंजाब में निवेश नहीं कर सके। उन्होंने कहा कि अब पंजाब ने एक लाख करोड़ के निवेश के एमओयू साइन किए है जिसमें से 52 प्रतिशत निवेश पर काम शुरू हो गया है।
पंजाब में अब शुरू होगा सिंगल विंडो सिस्टम, व्यापारियों को नहीं होगी कोई परेशानी
पार्षदों के साथ मीटिंग के बाद कांग्रेस के पंजाब प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू की उद्योगपतियों के साथ मीटिंग थी। जिसमें नवजोत सिंह सिद्धू ने कहा कि पंजाब में नया निवेश आने में मुख्य बाधा सिंगल विंडो सिस्टम का ना होना है। एक उद्योग लगाने के लिए 16 से 33 सरकारी क्लीयरेंस लेनी पड़ती है, जिसमें निवेशक भाग खड़ा होता है।
उन्होंने कहा कि 2022 सरकार बनते ही वह सिंगल विंडो सिस्टम को प्रभावी बनाने के साथ डिजिटल पोर्टल बनेगा, जिसमें उद्योगपति पोर्टल पर ही सारी औपचारिकताएं कर लेंगे और उन्हें ऑनलाइन क्लीयरेंस भी मिल जाएगी।