अयोध्या, 20 अक्टूबर 2024, रविवार। यूपी में 10 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव होना था। लेकिन चुनाव आयोग ने यूपी की 9 सीटों पर नामांकन की घोषणा कर दी, जबकि अयोध्या की मिल्कीपुर सीट पर नामांकन की घोषणा नहीं की गई। इसके पीछे स्वामी बाबा गोरखनाथ की एक याचिका थी जो उच्च न्यायालय में लंबित थी। लिहाज़ा, मिल्कीपुर सीट पर यूपी उपचुनाव की तारीख का ऐलान ना होने को लेकर सपा-भाजपा के बीच सियासी संग्राम जारी है। समाजवादी पार्टी के सांसद अवधेश प्रसाद ने इस मामले में भाजपा पर तीखे आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि सपा की ओर से कोई वकील नहीं खड़ा किया गया और भाजपा के पूर्व विधायक एवं याचिकाकर्ता बाबा गोरखनाथ पर नियमों का पालन न करने का आरोप लगाया।
सपा सांसद अवधेश प्रसाद ने कहा, हमारा इस्तीफा हो चुका है और अब हम सांसद हैं। याचिकाकर्ता ने विधानसभा चुनाव के प्रत्याशियों को नोटिस नहीं भेजा और न ही गजट जारी किया गया। यह वही बात हो गई जैसे ‘उल्टा चोर कोतवाल को डांटे’। दूसरी ओर, भाजपा के पूर्व विधायक बाबा गोरखनाथ ने सपा सांसद को ‘झूठों का सरदार’ बताया और कहा कि समाजवादी पार्टी मिल्कीपुर उपचुनाव को टालने का प्रयास कर रही है। उन्होंने दावा किया कि सपा ने कोर्ट में एक दर्जन वकील खड़े किए थे, जबकि अब वे कह रहे हैं कि हमने कोई वकील खड़ा नहीं किया।
बाबा गोरखनाथ ने कहा कि उन्होंने 22 अप्रैल 2022 को याचिका दाखिल की थी और यह कदम सपा की गलती के कारण उठाया गया। उन्होंने कहा, अवधेश प्रसाद को बेशर्म बताते हुए कहा कि उन्होंने वकील भेजे और अब यह कह रहे हैं कि हमने वकील खड़ा नहीं किया। समाजवादी पार्टी भाजपा से इस कदर डर गई है कि वह उपचुनाव को टालने की कोशिश कर रही है। इस मामले को लेकर दोनों दलों में तकरार बढ़ गई है, और हाई कोर्ट ने भी इस पर संज्ञान लिया है। अब यह देखना होगा कि कोर्ट क्या फैसला करता है और मिल्कीपुर उपचुनाव कब और कैसे होगा।