कोलकाता, 28 जून 2025: साउथ कलकत्ता लॉ कॉलेज की एक प्रथम वर्ष की छात्रा के साथ हुए गैंगरेप के मामले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। मेडिकल जांच ने पीड़िता के शरीर पर जबरन प्रवेश, काटने के निशान और नाखूनों की खरोंच के सबूत पेश किए हैं, जो उसकी दर्दनाक आपबीती की पुष्टि करते हैं। यह वीभत्स घटना 25 जून को कॉलेज परिसर में हुई, जिसमें एक पूर्व छात्र और दो सीनियर छात्रों पर सामूहिक दुष्कर्म का आरोप है। पुलिस ने मुख्य आरोपी मनोजीत मिश्रा सहित तीनों को गुरुवार को गिरफ्तार कर लिया।
“मैंने गिड़गिड़ाई, पैर पकड़े, लेकिन…”
कस्बा पुलिस स्टेशन में दर्ज FIR में पीड़िता ने अपनी व्यथा बयां की है। उसने बताया कि मुख्य आरोपी मनोजीत, जो खुद एक वकील है, ने उसका यौन उत्पीड़न किया। जब उसने मनोजीत के शादी के प्रस्ताव को ठुकराया, तो उसके साथ सामूहिक बलात्कार किया गया। पीड़िता ने बताया कि आरोपियों ने घटना का वीडियो बनाया और उसे ब्लैकमेल करने की धमकी दी। पीड़िता ने अपनी शिकायत में कहा, “मैंने विरोध किया, रोते हुए कहा कि मुझे जाने दो। मैंने उसके पैर छुए, लेकिन उसने मुझे नहीं छोड़ा। मुझे पैनिक अटैक हुआ, सांस लेने में तकलीफ हुई। मैंने इनहेलर मांगा, लेकिन उन्होंने तभी लाकर दिया जब मैं टूट चुकी थी,”

हॉकी स्टिक से हमला, ब्लैकमेल की धमकी
पीड़िता ने यह भी खुलासा किया कि यौन उत्पीड़न के दौरान उसके सिर पर हॉकी स्टिक से वार किया गया। उसने बताया, “एक ने मेरे साथ जबरदस्ती की, जबकि बाकी दो खड़े होकर देखते रहे। उन्होंने मुझे धमकी दी कि अगर मैंने किसी को बताया, तो वीडियो इंटरनेट पर डाल देंगे। मेरे परिवार और प्रेमी की हत्या की धमकी भी दी।” उसने कहा, रात 10:50 बजे उसे छोड़ा गया, लेकिन धमकियों के बावजूद उसने हिम्मत दिखाई और न्याय की गुहार लगाई। “मैं एक कानून की छात्रा हूं। आज मैं पीड़ित हूं, लेकिन मुझे न्याय चाहिए।”
पुलिस की कार्रवाई, फोरेंसिक जांच शुरू
पुलिस ने तीनों आरोपियों के मोबाइल फोन जब्त कर फोरेंसिक जांच के लिए भेज दिए हैं। मुख्य पुलिस अभियोजक सौरिन घोषाल ने सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले का हवाला देते हुए कहा कि गैंगरेप में सभी शामिल व्यक्तियों को सजा दी जाएगी, भले ही सभी ने दुष्कर्म न किया हो।

राजनीतिक तूफान, टीएमसी-बीजेपी में ठनी
इस घटना ने पश्चिम बंगाल में सियासी हंगामा मचा दिया है। टीएमसी मंत्री शशि पांजा ने कहा कि पुलिस ने 12 घंटे के भीतर आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया और जांच जारी है। वहीं, बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने टीएमसी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यह घटना राज्य में बिगड़ती कानून-व्यवस्था और शैक्षणिक संस्थानों में छात्राओं की असुरक्षा को दर्शाती है। उन्होंने पिछले साल आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हुई दुष्कर्म-हत्या की घटना का जिक्र करते हुए ममता बनर्जी सरकार को कठघरे में खड़ा किया।
कॉलेज प्रशासन और टीएमसी का खंडन
कॉलेज प्रशासन ने बताया कि मुख्य आरोपी मनोजीत को हाल ही में 45 दिनों के लिए अस्थायी गैर-शिक्षण कर्मचारी के रूप में नियुक्त किया गया था। उसके सोशल मीडिया प्रोफाइल से पता चला कि वह टीएमसी की छात्र इकाई का पूर्व अध्यक्ष रहा है। हालांकि, टीएमसी ने आरोपियों से किसी भी संबंध से इनकार किया और दोषियों को कड़ी सजा की मांग की।
पिछली घटना की यादें ताजा
यह मामला पिछले साल आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक प्रशिक्षु चिकित्सक के साथ हुई बलात्कार और हत्या की घटना की भयावह यादें ताजा करता है, जिसके बाद देशभर में प्रदर्शन हुए थे। कोलकाता में इस ताजा घटना ने एक बार फिर शैक्षणिक संस्थानों की सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल उठा दिए हैं।
पुलिस और प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि मामले की गहन जांच की जाएगी और पीड़िता को जल्द से जल्द न्याय मिलेगा।