नई दिल्ली, 13 दिसंबर 2024, शुक्रवार। असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से अनुरोध किया है कि वे इंडिया ब्लॉक का साथ छोड़कर अपने राज्य के विकास पर ध्यान दें। सरमा का मानना है कि यह गठबंधन अब मृत हो चुका है और ममता दीदी को ऐसे गठबंधन का नेतृत्व नहीं करना चाहिए, जिसका पुनर्जन्म नहीं होगा।
सरमा ने भारतीय नागरिकों और घुसपैठियों की पहचान के लिए राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) जैसे दस्तावेज की जरूरत पर भी जोर दिया। उन्होंने बताया कि उनकी सरकार ने आधार कार्ड के लिए एनआरसी में नाम होना अनिवार्य कर दिया है। अगर किसी का नाम एनआरसी में नहीं है, तो उसे आधार कार्ड नहीं मिलेगा।
सरमा ने कहा कि असम और पश्चिम बंगाल में बांग्लादेश सीमा पर बाड़ लगाना मुश्किल है क्योंकि यहां कई नदियां हैं। तकनीक का इस्तेमाल करके सीमा को सुरक्षित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार असम और त्रिपुरा में सीमा सुरक्षा के लिए तकनीकी प्रयास कर रही है, लेकिन पश्चिम बंगाल सरकार सहयोग नहीं कर रही है। अगर बंगाल सहयोग करे, तो घुसपैठ रोकी जा सकती है।
ओडिशा में बीजद के भविष्य को लेकर सरमा ने कहा कि बीजद का युग अब समाप्त हो गया है और भाजपा सरकार कम से कम 50 साल तक ओडिशा में रहेगी।
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने बांग्लादेश में हिंदूओं पर हो रहे हमलों की निंदा की है। उन्होंने कहा कि यह हमले बेहद दुर्भाग्यपूर्ण और चिंताजनक हैं। सरमा ने उम्मीद जताई कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बांग्लादेश में हिंदूओं की सुरक्षा के लिए कूटनीतिक कदम जरूर उठाएंगे।
सरमा ने यह भी कहा कि राहुल गांधी और कांग्रेस कभी हिंदू समुदाय के साथ खड़ी नहीं रही। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस उन लोगों के खिलाफ कदम उठाती है, जो उसके इशारों पर नहीं चलते। इसके साथ ही उन्होंने इंदिरा गांधी पर भी आरोप लगाया कि उन्होंने आपातकाल लागू करने के लिए राष्ट्रपति से जबरन दस्तखत करवाए थे।
सरमा ने कांग्रेस को सलाह दी कि पार्टी यह समझे कि जनता ने उसे खारिज कर दिया है और गांधी परिवार हर चुनाव में हार का सामना करेगा।