वाराणसी, 01 अगस्त 2025: मध्य प्रदेश में लगातार तीन दिनों से हो रही मूसलाधार बारिश के चलते गंगा नदी का जलस्तर वाराणसी में चेतावनी बिंदु तक पहुंच गया है और जल्द ही इसके खतरे के निशान को पार करने की आशंका जताई जा रही है। इस संभावित बाढ़ के खतरे को देखते हुए 11वीं एनडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन ने कमर कस ली है। शुक्रवार को एनडीआरएफ के उप महानिरीक्षक मनोज कुमार शर्मा और वाराणसी मंडल के आयुक्त एस. राजलिंगम ने बाढ़ संवेदनशील क्षेत्रों का संयुक्त निरीक्षण किया।

गंगा घाटों के साथ-साथ वरुणा नदी के कोनिया, सलारपुर, हुकुलगंज और चौकाघाट जैसे क्षेत्रों का जायजा लेते हुए अधिकारियों ने बाढ़ से निपटने की तैयारियों की गहन समीक्षा की। इस दौरान बचाव कार्यों, राहत वितरण और आपात स्थिति से निपटने की रणनीति पर विस्तृत चर्चा हुई।
उप महानिरीक्षक मनोज कुमार शर्मा ने बताया, “एनडीआरएफ की टीमें स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर हर स्थिति के लिए तैयार हैं। हमारा लक्ष्य किसी भी आपातकाल में त्वरित और प्रभावी कार्रवाई सुनिश्चित करना है।”

आयुक्त एस. राजलिंगम ने स्थानीय प्रशासन को निर्देश दिए कि बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में राहत सामग्री और बचाव संसाधनों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। प्रशासन ने नागरिकों से भी अपील की है कि वे नदी तटों पर अनावश्यक आवागमन से बचें और प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करें।
बाढ़ की आशंका को देखते हुए वाराणसी में प्रशासन और एनडीआरएफ की टीमें हाई अलर्ट पर हैं, ताकि जनजीवन को किसी भी संभावित खतरे से सुरक्षित रखा जा सके।