वाराणसी, 16 फरवरी 2025, रविवार। काशी तमिल संगमम-3 के दूसरे दिन तमिलनाडु से आये छात्रों का समूह हनुमान घाट पहुंचा और गंगा में स्नान कर मां की पूजा करते हुए सुख समृद्धि का आशीर्वाद मांगा। मौजूद आचार्यों ने छात्रों को विस्तार से गंगा के विभिन्न घाटों के इतिहास के बारे में बताया। इसके बाद सभी मेहमानों ने काशी के गंगा घाट पर स्थित प्राचीन मंदिरों में दर्शन-पूजन किया और मंदिरों के इतिहास, दिव्यता और भव्यता के बारे में जानकारी प्राप्त की।

बीएचयू कला भवन में डेलीगेट्स
इसके बाद हनुमान घाट स्थित तमिल मेहमान सुब्रह्मण्य भारती के घर गए और उनके परिवार के सदस्यों से मुलाकात की। छात्रों ने सुब्रह्मण्य भारती के घर के समीप पुस्तकालय का भी भ्रमण किया और उसके बारे में जानकारी प्राप्त की। इसके बाद छात्र दल कांची मठ पहुंचा और वहां के इतिहास के बारे में जानकारी ली। काशी में दक्षिण भारतीय मंदिर को देखकर युवाओं का दल उत्साहित दिखा।

काशी के मंदिर में पौराणिक मान्यताओं की जानकारी लेते तमिल डेलीगेट्स
इसके बाद डेलिगेट्स बीएचयू पहुंचे और काशी हिंदू विश्वविद्यालय में चल रहे काशी तमिल संगम के अंतर्गत एक विशेष शैक्षणिक सत्र में भाग लिया। इस सत्र में विद्वानों, शिक्षकों, लेखकों और छात्रों ने नई शिक्षा नीति, मातृभाषा, संगम साहित्य और विकसित भारत जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर विचार-विमर्श किया। पंडित ओंकार नाथ ठाकुर सभागार में आयोजित विश्वविद्यालय भ्रमण और विशेष शैक्षणिक सत्र में छात्रों, शिक्षकों और लेखकों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। इस सत्र के प्रोफेसर आनंदवर्धन शर्मा ने महान कवि सुब्रमण्यम भारती और पूर्व राष्ट्रपति डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम के प्रसंगों का उल्लेख किया। आरके मिश्रा सहित कई मुख्य वक्ताओं ने विभिन्न विषयों पर महत्वपूर्ण विचार रखे।

लाइब्रेरी का भ्रमण करते तमिल डेलीगेट्स

हनुमान घाट पर गंगा स्नान करते तमिल डेलीगेट्स