वाराणसी, 8 फरवरी 2025, शनिवार। महाशिवरात्रि से पहले काशी में साधु-संतों का जमावड़ा लगना शुरू हो गया है। प्रयागराज से आए कई अखाड़ों के संत काशी के घाटों पर प्रवास कर रहे हैं। आज यानि रविवार को महाकुंभ का 28वां दिन है, तथा इसके आयोजन में अभी 18 दिन और बाकी हैं। 26 फरवरी महाकुंभ का अंतिम दिन है। नागा साधुओं के तीन अमृत स्नान भी पूरे हो चुके हैं। जिसके बाद नागा साधुओं ने वाराणसी आना शुरू कर दिया है। शनिवार को अखाड़े के कुछ नागा साधु प्रयागराज से वाराणसी आ गए। जबकि, कुछ अखाड़ों के नागा 12 फरवरी से आगमन होगा। जूना अखाड़े के अंतरराष्ट्रीय प्रवक्ता श्रीमहंत नारायण गिरि ने बताया, प्रयागराज से संत काशी के लिए रवाना हुए हैं जहां वे महाशिवरात्रि तक रहेंगे और जुलूस निकालकर काशी विश्वनाथ के दर्शन करने के बाद मसाना में होली खेलेंगे और गंगा में स्नान करेंगे। इसके बाद वे अपने-अपने मठों और आश्रमों के लिए रवाना होंगे।
उन्होंने कहा कि इसी प्रकार बैरागी अखाड़ों में भी कुछ साधु-संत अयोध्या जाते हैं तो कुछ वृंदावन जाते हैं जहां वे भगवान रामजी के साथ होली खेलते हैं। जब उदासीन और निर्मल अखाड़े के संत पंजाब (आनंदपुर साहिब) जाते हैं। श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के संत प्रयागराज के कीडगंज स्थित अखाड़ा मुख्यालय जाएंगे, जहां वे शिवरात्रि तक रहेंगे और फिर यात्रा पर निकलेंगे।