कानपुर, 27 जून 2025: उत्तर प्रदेश के कानपुर से साइबर ठगी का एक सनसनीखेज मामला सामने आया है, जहां ठगों ने फर्जी क्राइम ब्रांच अधिकारी बनकर लोगों को ‘गंदे वीडियो’ देखने की धमकी देकर लाखों रुपये ऐंठ लिए। कानपुर पुलिस की साइबर क्राइम टीम ने इस शातिर गिरोह का पर्दाफाश करते हुए चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जबकि दो अभी फरार हैं।
जेल का डर दिखाकर की ठगी
पुलिस के मुताबिक, ठग अंजान नंबरों से लोगों को फोन कर दहशत फैलाते थे। वे दावा करते थे कि पीड़ित के इंटरनेट से ‘गंदे वीडियो’ देखे जा रहे हैं और इसके लिए उन्हें जेल भेजा जाएगा। डर के मारे लोग ठगों के झांसे में आ जाते और उनके बैंक खाते खाली कर दिए जाते। एनसीआरपी पोर्टल पर दर्ज 66 शिकायतों के बाद पुलिस ने जांच शुरू की, जिसके बाद इस गिरोह का खुलासा हुआ।
कक्षा 6-7 तक पढ़े ठगों की चालाकी
डीसीपी क्राइम कासिम आब्दी ने बताया कि गिरोह के सरगना शिवम वर्मा समेत चार आरोपियों को सर्विलांस की मदद से गिरफ्तार किया गया। हैरानी की बात यह है कि इनमें से दो आरोपी सिर्फ कक्षा 6 और 7 तक पढ़े हैं, फिर भी इतने शातिर हैं कि पढ़े-लिखे लोगों को आसानी से अपने जाल में फंसा लेते थे। यह गिरोह पहले कभी पकड़ा नहीं गया था, जिससे इनकी चालाकी का अंदाजा लगाया जा सकता है।
सोशल मीडिया बना ठगी का हथियार
सोशल मीडिया और इंटरनेट ने जहां जिंदगी को आसान बनाया, वहीं साइबर अपराधियों ने इसे ठगी का हथियार बना लिया। यह गिरोह लोगों को रेप केस में फंसाने या जेल भेजने की धमकी देकर डराता था। पुलिस ने बताया कि चार आरोपियों को हिरासत में लिया गया है, जबकि फरार दो अन्य की तलाश में छापेमारी जारी है। पुलिस ने लोगों से अपील की है कि वे ऐसे फर्जी कॉल्स से सावधान रहें और तुरंत साइबर क्राइम हेल्पलाइन पर शिकायत दर्ज करें। इस मामले ने एक बार फिर साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूकता की जरूरत को उजागर किया है।