नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने चालू वित्त वर्ष में देश की आर्थिक वृद्धि दर 6.5 फीसदी रहने का अनुमान जताया। उन्होंने सोमवार को कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार ने 9 साल में जो सुधार किए हैं, उससे देश की व्यापक आर्थिक स्थिति को फायदा हो रहा है। कुमार ने कहा, मुझे लगता है कि हम अगले कुछ साल 6.5 फीसदी की इस वृद्धि दर को आसानी से बनाए रख सकते हैं। उन्होंने कहा, भारत का चालू खाता घाटा संभाला जा सकता है। देश का विदेशी मुद्रा भंडार करीब 11 महीने के आयात को पूरा करने के लिए पर्याप्त है।
नौकरियां पैदा करने को 8% की वृद्धि दर जरूरी
नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष ने कहा, भारत को 8 फीसदी से अधिक की वृद्धि की जरूरत है। देश ऐसा करने में सक्षम है। देश की युवा आबादी की आकांक्षाओं को पूरा करने और अपने कार्यबल के लिए पर्याप्त नौकरियां पैदा करने के लिए आर्थिक वृद्धि को इस स्तर पर लाना जरूरी है।
5जी से मोबाइल स्पीड रैंकिंग में भारत की 72 पायदान की छलांग, अब 47वें स्थान पर
भारत 5जी मोबाइल स्पीड रैंकिंग में 119वें से 72 पायदान उछलकर 47वें स्थान पर पहुंच गया है। ब्रॉडबैंड व मोबाइल इंटरनेट नेटवर्क की गति की जानकारी देने वाली कंपनी ऊकला ने कहा, 5जी सेवाओं की शुरुआत कर मोबाइल डाउनलोड स्पीड में भारत ने उल्लेखनीय वृद्धि हासिल की है। भारत ‘स्पीडटेस्ट ग्लोबल इंडेक्स’ में बांग्लादेश, श्रीलंका और पाकिस्तान जैसे पड़ोसी देशों से आगे है। इसके अलावा, वह कुछ जी-20 देशों, मैक्सिको (90वां), तुर्किये (68वां), ब्रिटेन (62वां), जापान (58वां), ब्राजील (50वां) व दक्षिण अफ्रीका (48वां स्थान) से भी आगे है।
शुरुआत के बाद मोबाइल स्पीड में 3.59 गुना वृद्धि
देश में 5जी की शुरुआत के बाद से मोबाइल स्पीड में 3.59 गुना वृद्धि देखी गई है। औसत डाउनलोड स्पीड सितंबर, 2022 में 13.87 एमबीपीएस थी, जो बढ़कर अगस्त, 2023 में 50.21 एमबीपीएस हो गई। 5जी सेवाओं की शुरुआत के साथ सभी दूरसंचार सर्किलों में समग्र उपयोगकर्ता अनुभव में सुधार हुआ है।
अफवाहों के खंडन का समय फरवरी तक बढ़ा
सेबी ने सूचीबद्ध कंपनियों के लिए बाजार की अफवाहों की पुष्टि या उनका खंडन करने की समय सीमा फरवरी, 2024 तक बढ़ा दी है। बाजार पूंजीकरण के लिहाज से शीर्ष-100 सूचीबद्ध कंपनियों के लिए पहले यह सीमा एक अक्तूबर थी। शीर्ष-250 कंपनियों के लिए यह समय सीमा अब एक अगस्त, 2024 से लागू होगी। पहले इसे एक अप्रैल, 2024 से लागू किया जाना था।