लखनऊ, 2 जुलाई 2025: सपा प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव का 52वां जन्मदिन जहां समर्थकों ने ब्लड डोनेशन और पौधरोपण जैसे आयोजनों के साथ धूमधाम से मनाया, वहीं बीजेपी युवा मोर्चा (भाजयुमो) के नेता अमित त्रिपाठी के विवादित पोस्टरों ने सियासी माहौल को गर्मा दिया। इन पोस्टरों को सपा समर्थकों ने फाड़ दिया, जिसके बाद वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए।
विवादित पोस्टर ने बटोरी सुर्खियां
भाजयुमो नेता अमित त्रिपाठी ने लखनऊ के हजरतगंज और 1090 चौराहे जैसे प्रमुख स्थानों पर तंज भरे पोस्टर लगवाए। पोस्टर में लिखा गया, “दलितों से लाभ लेने वाले, ब्राह्मणों के नाम पर वोट लेने वाले, पिछड़ों को सिर्फ वोट बैंक समझने वाले, गुंडे और बदमाशों की फौज के लीडर, माफियाओं का हर सुख-दुख में साथ देने वाले, उत्तर प्रदेश को अपराधिक प्रदेश में तब्दील करने वाले नेता अखिलेश यादव को जन्मदिन की ढेर सारी शुभकामनाएं। प्रभु श्री राम से कामना है कि प्रदेश की रक्षा और महिलाओं की सुरक्षा के लिए आपकी कभी सत्ता वापसी न कराएं।”
सपा समर्थकों का गुस्सा, पोस्टर फाड़े
पोस्टरों से भड़के सपा समर्थकों ने 1090 चौराहे पर लगे पोस्टर को फाड़ दिया और ‘अखिलेश यादव जिंदाबाद’ के नारे लगाए। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिसने सियासी हलकों में हलचल मचा दी है।
त्रिपाठी का पुराना रिकॉर्ड
बता दें, अमित त्रिपाठी आए दिन सपा और अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए विवादित पोस्टर लगवाते रहे हैं। उनके इन कदमों से लखनऊ की सियासत में तनाव बढ़ जाता है। इस बार भी पोस्टर विवाद ने दोनों दलों के बीच जुबानी जंग को हवा दे दी है।
सपा-भाजपा में बढ़ा तनाव
सपा नेताओं ने इसे बीजेपी की ‘नीच राजनीति’ करार दिया, जबकि भाजयुमो कार्यकर्ताओं ने इसे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता बताया। इस घटना ने एक बार फिर यूपी की सियासत को गरमा दिया है, और दोनों पक्षों के बीच तीखी बयानबाजी की संभावना बढ़ गई है।
लखनऊ की सड़कों से सोशल मीडिया तक, यह विवाद अभी और तूल पकड़ सकता है।