झांसी, 25 जून 2025: शासन ने भले ही झांसी को स्मार्ट सिटी का तमगा दे दिया हो, लेकिन हकीकत में शहरवासी मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहे हैं। जल जीवन मिशन की महत्वाकांक्षी योजना, जिसके तहत हर घर तक नल पहुंचाने का वादा किया गया था, ठेकेदारों की लापरवाही की भेंट चढ़ गई है। शहर में पानी के बड़े-बड़े लीकेज हजारों गैलन पानी को बर्बाद कर रहे हैं, और प्रशासन मूकदर्शक बना हुआ है।
पंचवटी और पीताम्बरा इलाके में हाल ही में सामने आए एक वीडियो ने इस बदहाली की पोल खोल दी। स्थानीय लोगों का कहना है कि एक बिल्डिंग मैटेरियल सप्लायर ने जेसीबी मशीन से पहाड़ की मिट्टी चुराने के दौरान मिट्टी में दबी मोटी पाइपलाइन को नुकसान पहुंचाया। नतीजा? तीन दिनों से पानी का रिसाव जारी है, और मरम्मत के तमाम प्रयास बेकार साबित हो रहे हैं।
स्थानीय निवासी रमेश कुमार ने बताया, “हम बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं। स्मार्ट सिटी का नाम सुनकर लगता था कि अब हालात सुधरेंगे, लेकिन ये तो पहले से भी बदतर हो गए।” वहीं, प्रशासन की ओर से कोई ठोस कार्रवाई न होने से लोगों में आक्रोश बढ़ रहा है।
आखिर कब तक झांसीवासी इस बदहाल व्यवस्था के सहारे जीने को मजबूर रहेंगे? सवाल यह है कि स्मार्ट सिटी का ख्वाब दिखाने वाली सरकार कब जमीनी हकीकत को सुधारेगी? फिलहाल, पानी की बर्बादी और जनता की परेशानी जारी है।