वाराणसी, 1 जून 2025, रविवार: काशी हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू), जो अपनी शैक्षणिक प्रतिष्ठा और पारदर्शिता के लिए जाना जाता है, वहां एक हैरान करने वाला ठगी का मामला सामने आया है। चौक (पियरी) की रहने वाली डिंपल मिश्रा ने एक ऐसे शातिर ठग के जाल में फंसने की शिकायत की है, जिसने एमबीए में दाखिले का सपना दिखाकर उनके 11.84 लाख रुपये हड़प लिए। इस सनसनीखेज मामले ने पूरे शहर में हलचल मचा दी है, और चौक पुलिस अब इस ठगी के मास्टरमाइंड की तलाश में जुट गई है।
डिंपल ने पुलिस को बताया कि देवेश मिश्रा नाम का एक शख्स, जो खुद को बीएचयू के रसूखदार लोगों का करीबी बताता था, ने उनके सपनों को हथियार बनाया। उसने दावा किया कि वह अपने “कनेक्शन्स” के दम पर बीएचयू के प्रतिष्ठित एमबीए कोर्स में सीट पक्की करवा देगा। इस चिकनी-चुपड़ी बातों में आकर डिंपल ने कुछ पैसे ऑनलाइन ट्रांसफर किए, तो कुछ नकद सौंपे। लेकिन हफ्तों बीतने के बाद न तो दाखिले की कोई खबर आई, न ही कोई आधिकारिक पुष्टि। जब डिंपल ने देवेश से जवाब मांगा, तो वह बहाने बनाने लगा और धीरे-धीरे उसका रवैया टालमटोल में बदल गया।
शक होने पर डिंपल ने बीएचयू प्रशासन से संपर्क किया, जहां उन्हें असलियत का झटका लगा। विश्वविद्यालय ने साफ किया कि उनकी दाखिला प्रक्रिया पूरी तरह मेरिट-आधारित और पारदर्शी है, और इस तरह की कोई “सिफारिशी” व्यवस्था नहीं होती। यह सुनकर डिंपल के पैरों तले जमीन खिसक गई। आनन-फानन में उन्होंने चौक थाने में लिखित शिकायत दर्ज की, जिसमें देवेश मिश्रा और उसके परिजनों पर ठगी का इल्जाम लगाया गया।
चौक थाने की पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए तुरंत जांच शुरू कर दी है। प्रभारी निरीक्षक विमल कुमार मिश्रा ने बताया कि पुलिस अब आरोपी के कॉल रिकॉर्ड्स, बैंक ट्रांजेक्शन्स और अन्य डिजिटल साक्ष्यों को खंगाल रही है। उन्होंने कहा, “शिकायत मिली है, और हम हर पहलू की बारीकी से जांच कर रहे हैं। अगर आरोप सही पाए गए, तो दोषी के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी।”
यह मामला न सिर्फ एक ठगी की कहानी है, बल्कि उन सपनों का दर्द भी बयां करता है, जो शिक्षा के नाम पर धोखे की भेंट चढ़ जाते हैं। क्या डिंपल को इंसाफ मिलेगा? क्या इस ठगी के पीछे का असली मास्टरमाइंड पकड़ा जाएगा? चौक पुलिस की जांच अब इस सवाल का जवाब तलाश रही है। तब तक, यह घटना हर उस व्यक्ति के लिए एक सबक है जो शिक्षा के नाम पर बड़े-बड़े वादों के जाल में फंस सकता है।
सावधान रहें, सपनों को बेचने वाले ठगों से!