नई दिल्ली, 17 मई 2025, शनिवार। चुनावी माहौल के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक बार फिर बिहार की धरती पर कदम रखने वाले हैं। इस बार उनके दौरे का शेड्यूल बदल गया है। पहले 30 मई को प्रस्तावित यह दौरा अब 29 मई को होगा। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद पीएम का यह पहला बिहार दौरा है, जो विकास और सियासत दोनों के लिहाज से खास होने वाला है।
पटना में नए टर्मिनल का उद्घाटन, बिहार को मिलेगी बड़ी सौगात
सूत्रों के मुताबिक, 29 मई को पीएम मोदी पटना के जय प्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट पर नए टर्मिनल भवन का उद्घाटन करेंगे। 1216 करोड़ रुपये की लागत से तैयार यह टर्मिनल आधुनिक सुविधाओं से लैस है और बिहार की हवाई कनेक्टिविटी को नई ऊंचाइयों तक ले जाएगा। इसके अलावा, पटना से सासाराम, वाराणसी-रांची फोरलेन हाईवे, नवीनगर में 600 मेगावट का पावर प्लांट और बिहटा एयरपोर्ट विस्तारीकरण जैसी परियोजनाओं का शिलान्यास भी संभावित है। ये परियोजनाएं बिहार के विकास को नई गति देंगी।
बिक्रमगंज में विशाल रैली, चुनावी शंखनाद की तैयारी
30 मई को पीएम मोदी सासाराम के बिक्रमगंज में एक विशाल जनसभा को संबोधित करेंगे। इस रैली को एनडीए के लिए बेहद अहम माना जा रहा है। बीजेपी नेताओं का दावा है कि लाखों की भीड़ इस सभा में जुटेगी। माना जा रहा है कि पीएम मोदी इस मंच से आतंकवाद के खिलाफ कड़ा संदेश देंगे और बिहार विधानसभा चुनाव के लिए एनडीए का रोडमैप पेश करेंगे। यह रैली चुनावी बिगुल फूंकने का काम कर सकती है, क्योंकि अक्टूबर-नवंबर में प्रस्तावित विधानसभा चुनाव को देखते हुए सियासी हलचल तेज हो चुकी है।
आतंकवाद पर कड़ा रुख, जनता से सीधा संवाद
पहलगाम आतंकी हमले के बाद पीएम मोदी का यह दौरा और भी खास हो जाता है। इससे पहले 24 अप्रैल को मधुबनी में राष्ट्रीय पंचायती राज दिवस के मौके पर उन्होंने आतंकियों को कड़ा सबक सिखाने की बात कही थी। बिक्रमगंज की रैली में भी उनका यह जोशीला अंदाज देखने को मिल सकता है।
एनडीए बनाम महागठबंधन: सियासी जंग की शुरुआत
बिहार में एनडीए और महागठबंधन के बीच कांटे की टक्कर की तैयारी चल रही है। पीएम मोदी के इस दौरे को एनडीए के लिए एक बड़ा मौका माना जा रहा है। बीजेपी और सहयोगी दल इस रैली को ऐतिहासिक बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ रहे। दूसरी तरफ, महागठबंधन भी अपनी रणनीति को धार देने में जुटा है।
पीएम मोदी का यह दौरा न केवल बिहार के विकास को गति देगा, बल्कि चुनावी माहौल को भी पूरी तरह गरमा देगा। बिहार की जनता अब 29 मई का इंतजार कर रही है, जब पीएम नई परियोजनाओं की सौगात के साथ-साथ सियासी संदेश भी देंगे।