नई दिल्ली, 1 मई 2025, गुरुवार: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल को हुए भीषण आतंकी हमले ने भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव को नई ऊंचाइयों पर पहुंचा दिया। इस हमले, जिसमें 26 लोग, मुख्य रूप से पर्यटक, मारे गए, के बाद भारत सरकार ने कड़ा रुख अपनाते हुए पाकिस्तानी नागरिकों के लिए ‘भारत छोड़ो’ नोटिस जारी किया। परिणामस्वरूप, पिछले छह दिनों में अटारी-वाघा सीमा के रास्ते 786 पाकिस्तानी नागरिक भारत छोड़कर जा चुके हैं, जबकि 1,465 भारतीय नागरिक पाकिस्तान से स्वदेश लौटे हैं।
पाकिस्तानी नागरिकों का पलायन
24 से 29 अप्रैल के बीच, 55 राजनयिकों, उनके आश्रितों और सहायक कर्मचारियों सहित 786 पाकिस्तानी नागरिकों ने भारत छोड़ा। इनमें से 94 लोग 29 अप्रैल को, 145 लोग 28 अप्रैल को, और 237 लोग 27 अप्रैल को सीमा पार कर गए। इसके अलावा, पाकिस्तानी वीजा वाले आठ भारतीय नागरिक भी 29 अप्रैल को भारत से बाहर गए। सरकार ने विभिन्न श्रेणियों के वीजा धारकों के लिए अंतिम तिथियां निर्धारित की थीं: सार्क वीजा के लिए 26 अप्रैल, मेडिकल वीजा के लिए 29 अप्रैल, और व्यवसाय, पत्रकार, पर्यटक जैसे अन्य वीजा के लिए 27 अप्रैल। दीर्घकालिक, राजनयिक, या आधिकारिक वीजा धारकों को इस आदेश से छूट दी गई।
भारतीयों की स्वदेश वापसी
दूसरी ओर, 24 अप्रैल से अब तक 25 राजनयिकों सहित 1,465 भारतीय नागरिक पाकिस्तान से भारत लौटे। सबसे अधिक 469 लोग 29 अप्रैल को, 342 लोग 26 अप्रैल को, और 287 लोग 25 अप्रैल को स्वदेश लौटे। साथ ही, दीर्घकालिक भारतीय वीजा वाले 151 पाकिस्तानी नागरिक भी इस दौरान भारत आए, जिनमें 129 लोग 28 अप्रैल को और 22 लोग 29 अप्रैल को शामिल हैं।
राजनयिक तनाव और कार्रवाई
हमले के बाद भारत ने पाकिस्तानी उच्चायोग के तीन रक्षा सलाहकारों को ‘अवांछित व्यक्ति’ घोषित कर 23 अप्रैल को उन्हें भारत छोड़ने का एक सप्ताह का समय दिया। उनके पांच सहायक कर्मचारियों को भी वापस जाने का आदेश मिला। जवाब में, भारत ने इस्लामाबाद में अपने रक्षा अताशे को भी वापस बुला लिया। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने 25 अप्रैल को सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों से बात कर यह सुनिश्चित करने को कहा कि कोई भी पाकिस्तानी नागरिक निर्धारित समय सीमा के बाद भारत में न रहे। गृह सचिव गोविंद मोहन ने भी मुख्य सचिवों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस कर इस निर्देश को दोहराया।
हवाई मार्ग से भी आवागमन
अधिकारियों के अनुसार, कुछ पाकिस्तानी नागरिक हवाई मार्ग से भी भारत छोड़कर गए। चूंकि भारत और पाकिस्तान के बीच सीधा हवाई संपर्क नहीं है, माना जा रहा है कि ये लोग तीसरे देशों के रास्ते गए होंगे।