भोपाल, 18 नवंबर 2024, सोमवार। मध्य प्रदेश में जल्द ही जेलों में नशा मुक्ति केंद्र शुरू होंगे, जिससे बंदियों को नशे की लत से छुटकारा मिलेगा। भारत सरकार ने इस परियोजना के लिए प्रत्येक केंद्र के लिए 20 लाख रुपये की मंजूरी दी है।
इन केंद्रों में मनोचिकित्सकों की तैनाती होगी, जो नशे की लत वाले बंदियों को विड्राल सिम्पटम्स जैसी समस्याओं से निपटने में मदद करेंगे। काउंसलिंग के माध्यम से बंदियों को नशे से दूर करने की कोशिश की जाएगी।
पहले चरण में केंद्रीय जेलों में यह व्यवस्था शुरू की जाएगी, जिसमें भोपाल, इंदौर, उज्जैन, ग्वालियर, जबलपुर, रीवा, सतना, सागर, नरसिंहपुर, बड़वानी और नर्मदापुरम जिलों की जेलें शामिल हैं। बाद में जिला जेलों में भी नशा मुक्ति केंद्र शुरू करने के प्रयास किए जाएंगे।
हर एक केंद्र में एक परियोजना समन्वयक, एक मनोचिकित्सक या क्लिनिकल साइकोलॉजिस्ट, काउंसलर और अकाउंटेंट के पद होंगे। सामाजिक न्याय विभाग जेलों में यह केंद्र बनाएगा और मानव संसाधन की भर्ती भी करेगा।