दुनिया में भारतीय खेलों का डंका बजाने के लिए सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने एक बड़ी पहल की है. IIT-बॉम्बे (IIT-Bombay) के सहयोग से यह मंत्रालय गेमिंग सेंटर बनाने जा रहा है. यह सेंटर खेलों के विकास के लिए कई अहम योजनाएं और कोर्स चलाएगा. केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावडेकर ने रविवार को एक गेम डिजाइनिंग कम्पटीशन के प्रतिभागियों को ऑनलाइन संबोधित करते हुए यह अहम जानकारी दी है.
केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावडेकर ने कहा, “भारत खेलों का एक ऐतिहासिक केंद्र है.
भारतीय खेलों की दुनिया अद्भुत है. प्रधानमंत्री ने भारत को एक प्रमुख खेल निर्माता देश बनाने की सोची है.भारत को एक प्रमुख खेल निर्माता बनाने के लिए पीएम मोदी का संकल्प यह दिखाता है कि वह देश के लिए कितने दूर तक की सोच रखते हैं. उनके इस सपने को हर भारतीय नागरिक साकार करेगा.”
VFX, गेमिंग और एनिमेशन जैसे विषयों पर शुरू होंगे कोर्स
प्रकाश जावडेकर ने बताया कि इसी सिलसिले में IIT बॉम्बे के सहयोग से मिनिस्ट्री ऑफ इंफॉर्मेशन और ब्रॉडकास्टिंग एक गेमिंग सेंटर बनाने जा रही है, जहां VFX (Visual Effects), गेमिंग और एनिमेशन जैसे विषयों पर अलग-अलग कोर्स जल्द ही शुरू किए जाएंगे और इसी के साथ-साथ एक सेंटर भी बनाया जाएगा, जहां से खेलों के विकास के लिए कई योजनाएं चलाई जाएंगी. केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री ने कहा कि भारत के समृद्ध सांस्कृतिक इतिहास में कई तरह के खिलौनों के बारे में बताया गया है, भारत की इस सांस्कृतिक विरासत का पुनरुत्थान होगा और पूरी दुनिया में भारतीय खिलौनों का डंका बजेगा.
मोबाइल फोन के गेम्स से मन पर पड़ता है गलत असर
उन्होंने कहा कि आज के आधुनिक उपकरणों (modern devices), जैसे कि मोबाइल फोन में खेले जाने वाले खेलों में हिंसा, क्रूरता और घृणा जैसे भाव हैं, जिनसे बच्चों में कई तरह की दुर्भावनाएं पैदा होने की संभावनाएं हैं और बच्चों के कोमल और प्रभावशाली मन पर गलत छाप छोड़ने की क्षमता रखते हैं. इसकी जगह हम VFX और अन्य आधुनिक तकनीकों के इस्तेमाल से भारतीय मूल्यों पर आधारित वीडियो गेम्स तैयार कर सकते हैं, क्योंकि भारतीय मूल्य मानवता के मूल्य (Humanity Values) हैं.