भारतीय मर्चेंट नेवी एक जहांज जून महीने से ही चीन के जिंगटैंक बंदरगाह में फंसा हुआ है। जग आनंद नाम का यह जहाज मुंबई की एक कंपनी ग्रेट ईस्टर्न शिपिंग लिमिटेड का है। जहाज के फंसे होने की वजह से उसके 23 क्रू मेंबर भी लगभग छह महीने से वहीं फंसे हुए हैं और बेहाल स्थिति में हैं। पिछले पांच महीनों से बेहाल स्थिति में फंसे चालक दल के सदस्यों ने भारत लौटने के लिए मदद की मांग रहे हैं। हालात ऐसे हो गए हैं कि चालक दल के सदस्यों में कुछ की तबीयत भी ठीक नहीं चल रही है।
काफी दिन से जहाज के खड़े होने उसमें अब धीरे-धीरे दवाइयों की कमी भी हो रही है। चालक दल के सदस्यों ने न्यूज एजेंसी से संपर्क कर अपनी पीड़ा बताई है। एएनआई से बात करते हुए चालक दल के एक सदस्य ने फोन पर बताया है कि जहाज जनवरी में चला था। जहाज पर फिलहाल 1.70 लाख टन ऑस्ट्रेलियन कोयला लदा हुआ है। चालक दल के सदस्य ने बताया कि ऑस्ट्रेलिया से मई में चलने के बाद 13 जून को चीन के जिंगटैंक बंदरगाह पहुंचे थे।
तब से लेकर अभी तक पांच महीने का दिन बीत गया है लेकिन अभी तक हमकों चाइनीज बंदरगाह से कोई अपडेट नहीं मिला है। चालक दल के सदस्य ने अपनी पीड़ा बताते हुए कहा कि पिछले पांच महीने से हम बेहाल जिंदगी जी रहे हैं। चालक दल के सदस्यों ने कहा कि चाइनीज बंदरगाह प्रशासन उनको कोयला खाली करने की अनुमति नहीं भी नहीं दे रहा है और न ही इसके पीछे की वजह को बता रहा है।
चालक दल के सदस्य ने कहा कि अपने समस्याओं को लेकर कंपनी को अवगत करा दिया है और वो डिप्लोमैटिक चैनल के जरिए इसका हल निकालने का प्रयास कर रहे हैं। वहीं, जहाज कपंनी के अधिकारी ने कहा है कि उन्होंने शिपिंग के डीजी और विदेश मंत्रालय को भी इसकी सूचना दी है। चालक दल के 23 सदस्यों में कुछ तो पिछले 15 महीने से जहाज पर हैं।