कोरोना वैक्सीन के वितरण को लेकर आज देश के 116 जिलों के 259 स्थानों पर वैक्सीन को लेकर ड्राई रन किया जा रहा है। इसको लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने दिल्ली के जीटीबी अस्पताल जाकर ड्राई रन का जायजा लिया। इस दौरान जब केंद्रीय मंत्री से जब पूछा गया कि क्या लोगों को कोरोना की वैक्सीन के लिए पैसे चुकाने पड़ेंगे या इसके लिए पैसे देने पड़ेंगे तो उन्होंने कहा कि दिल्ली ही नहीं पूरे देश में कोरोना की वैक्सीन फ्री मिलेगी। बाद में उन्हेंने ट्वीट कर के कहा कि पहले चरण में चिन्हित किए गए लोगों को फ्री में वैक्सीन दी जाएगी। इनमें स्वास्थ्यकर्मी एवं फ्रंटलाइन वर्कर्स शामिल हैं। हालाँकि अभी वैक्सीन के प्रयोग को अनुमति नहीं मिली है, जिस पर ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया को अंतिम निर्णय लेना है।
अफ़वाहों पर ध्यान ना दें – डॉ हर्षवर्धन
डॉ. हर्षवर्धन ने कहा कि देश में वैक्सीन की सुरक्षा को लेकर अफवाहें फैलाई जा रही हैं, लोगों को इस पर ध्यान नहीं देना चाहिए। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा, कोरोना वैक्सीन सिर्फ दिल्ली ही नहीं, बल्कि पूरे देश में हर भारतीय को मुफ्त लगाई जाएगी। इसके लिए किसी से भी किसी भी तरह का शुल्क नहीं लिया जाएगा। देश के लोगों के स्वास्थ्य की सुरक्षा सरकार के लिए सर्वोपरि है. उन्होंने कहा कि दिल्ली औऱ देश भर में टीकाकरण को लेकर किए जा रहे पूर्वाभ्यास संतोषपूर्ण हैं। सभी राज्यों को इसको लेकर दिशा-निर्देश भेजे गए थे, उनका पालन किया जा रहा है।
क्या होता है ड्राई रन?
ड्राई रन का मतलब वैक्सीनेशन प्रोसेस का मॉक ड्रिल होना है। यानी ड्राई रन में सबकुछ वैसा ही होगा जैसे वैक्सीनेशन अभियान में असल में होने वाला है। इसमें सिर्फ कोविड-19 का वैक्सीन लगाया नहीं जाएगा और वैक्सीन एडमिनिस्ट्रेशन भी नहीं किया जाएगा। इसमें सबसे पहले डमी वैक्सीन कोल्ड स्टोरेज से निकलकर वैक्सीनेशन सेंटर तक कैसे पहुंचेगी, टीका स्थल पर भीड़ का प्रबंधन कैसे किया जाएगा, एक दूसरे के बीच दूरी सोशल डिस्टेंसिंग की व्यवस्था कैसे की जाएगी इस सब का लाइव टेस्ट किया जाएगा। इसके अलावा ड्राई रन के तहत वैक्सीन की रियल-टाइम मॉनिटरिंग को भी टेस्ट किया जाएगा।
कैसा है ड्राई रन का प्लान?
हर राज्य की राजधानी में कम से कम तीन सेंटर्स पर ड्राई रन किया जाना है। इसमें राज्यों के ज़्यादातर इलाकों को शामिल किया जायेगा। महाराष्ट्र और केरल समेत कई राज्यों में राजधानी के अलावा अन्य बड़े शहरों में ड्राई रन किया जायेगा।
ड्राई रन के बाद क्या होगा?
देशभर के सभी राज्यों के ड्राई रन साइट्स पर ये प्रक्रिया दो दिनों तक चलेगी, उसके बाद एक फीडबैक रिपोर्ट तैयार की जाएगी. जिसका रिव्यू स्टेट लेवल पर बनी टास्क फोर्स करेगी। इसके बाद इस रिपोर्ट को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय भेजी जाएगी। फिर से केंद्रीय स्तरों पर राज्यों में हुए ड्राई रन की फाइंडिंग्स का फिर रिव्यू होगा। फीडबैक के बाद अगर सरकार को लगता है कि इस प्लान में कोई कमी है तो उसको पूरा किया जाएगा। इसके अलावा अगर ड्राई रन में सारी प्रक्रिया सही रहती है तो प्लान के हिसाब से जल्द ही वैक्सीनेशन प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी।